रायगढ़. रायपुर संभाग में स्थित गंगरेल बांध के 10 गेट खोले जाने के बाद महानदी उफान पर है और महानदी आज सुबह से ही खतरे के निशान से 3 फीट उपर बह रही है। इससे रायगढ़ जिले के करीब 32 गांव प्रभावित हुए हैं। प्रशासन की टीम सुबह से ही प्रभावितों को राहत शिविरों में पहुंचाने में लगे हैं और नाव का सहारा लेकर ग्रामीणों को निकाला जा रहा है। दो दिन पहले से ही जिला प्रशासन ने सारंगढ़ ब्लॉक के 17, पुसौर ब्लाक के 12 और बरमकेला ब्लॉक के 14 गांव में हाई अलर्ट जारी कर दिया था। साथ ही साथ 12 से अधिक राहत शिविर भी बना लिए थे। कल देर रात से ही महानदी का जल स्तर तेजी से बढऩे लगा था और आज सुबह पोरथ, ठेंगागुडी, सूरजगढ़, बोरिदा, रानीडीह, कोर्रा, तोरा सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं। जहां कई घर पानी में डूब गए हैं। साथ ही साथ पोरथ का तीर्थ स्थल का सबसे बड़ा मंदिर भी आधे से ज्यादा पानी में समा चुका है। स्थिति यह है कि रायगढ़ -सारंगढ़ व सारंगढ़ से बरमकेला, सरिया सड़क मार्ग बंद हो चुके हैं वहीं चंद्रपुर से लगा लात नाला पुल भी कल से डूब जाने से नेशनल हाईवे 216 भी बंद कर दिया गया है। चूंकि सुरक्षा की दृष्टि से प्रशासन ने यह रास्ता बंद किया है। साथ ही साथ रायगढ़-रायपुर व रायपुर से रायगढ़ सड़क मार्ग भी ठप्प हो गया है। प्रशासनिक अधिकारियों ने बताया कि हालात पर नजर रखी जा रही है और स्थिति से निपटने के लिए बचाव दल को तैयार किया गया है।
लात नाला में भी चढ़ा पानी, आवागमन हुआ बाधित
कल गंगरेल बांध से एक लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया। जिसका असर अब देखने को मिल रहा है। चंद्रपुर स्थित महानदी खतरे के निशान से 3 फीट उपर बह रहा है। इससे लात नाला के ऊपर डेढ़ फीट पानी चल रहा है और यह लगातार बढ़ते ही जा रहा है। इससे रायगढ़-सारंगढ़ मार्ग पूरी तरह बंद हो गया है। थोड़ा-थोड़ा पानी सड़क पर आ रहा है लेकिन लात मारा पूरी तरीके से पानी में डूब चुका है। वही महानदी के किनारे सरहदी इलाकों में बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है । हालांकि प्रशासन बाढ़ की स्थिति को देखते हुए पहले ही हाई अलर्ट जारी कर चुकी है।
Comment Now