रायपुर. भारतीय प्रशासनिक सेवा से इस्तीफा देकर राजनीतिक करियर चुनने जा रहे ओम प्रकाश चौधरी ने अपनी मां कौशल्या चौधरी से दो महीने पहले ही कलेक्टर की नौकरी छोड़ने को लेकर सलाह ली थी। तब वह बेटे के फैसले को सुनकर अवाक रह गई थीं।
मीडिया से बात करते हुए बताया कि ओपी ने जब बताया तब हम लोग कलेक्टरी छोड़ने को लेकर तैयार नहीं थे। लेकिन उन्होंने विस्तृत रूप से समझाया तब सभी मान गए। पहली बार तो उन्हें लगा कि शायद बेटे का फैसला गलत है। लेकिन यह भी सच है कि बचपन से लेकर अब तक जो भी फैसला ओपी ने लिया है, जीवन में वह काम आया है। ओपी ने लोगों के लिए काम किया है। उसी काम की वजह से उसकी तरक्की भी हुई है। कलेक्टर का पद छोड़कर राजनीति में आने का फैसला भी उसे ऊपर ही लेकर जाएगा। ओपी के भाई पदमलोचन चौधरी का कहना है कि प्रशासनिक पद पर रहते हुए भी उन्होंने देश और समाज के लिए काम किया। आगे भी वे देश और छत्तीसगढ़ को आगे ले जाने के लिए काम करेंगे। इस बीच जानकारी मिली है कि 28 अगस्त को दिल्ली में मुख्यमंत्री परिषद की बैठक के बाद ओपी चौधरी भाजपा में प्रवेश कर सकते हैं।
पॉलीटिकल इंट्री की स्किप्ट तैयार : दिल्ली के पार्टी मुख्यालय में उनका भाजपा में प्रवेश हो सकता है। भाजपा के सूत्र इस बात की तस्दीक कर रहे हैं कि दिल्ली आलाकमान ने ओपी की पॉलीटिकल इंट्री की पूरी स्क्रिप्ट तैयार कर ली है। यह भी जानकारी मिली है कि ओपी अभी दिल्ली में हैं। भास्कर ने उनसे फोन पर संपर्क करने की कोशिश की। लेकिन उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया। कुछ दिन पहले मुख्यमंत्री ने कहा था कि भाजपा में शामिल होने का निर्णय ओपी को लेना है, देखते हैं आगे क्या होता है।
बसवराजू रायपुर के नए कलेक्टर, यशवंत संचालक उच्च शिक्षा : ओपी चौधरी के इस्तीफे के बाद 2007 बैच के आईएएस बसव राजू रायपुर के नए कलेक्टर बनाए गए हैं। चुनाव आयोग की सहमति के बाद राज्य शासन ने सोमवार शाम आदेश जारी कर दिया। बसव राजू कौशल विकास अधिकरण के प्रमुख के साथ ही संचालक उच्च शिक्षा थे। अब इन दोनों पदों का प्रभार 2007 बैच के आईएएस यशवंत कुमार को दिया गया है। यशवंत के पास अभी लोकल फंड आडिट था। बता दें कि राजू पहले डेपुटेशन पर गृह प्रदेश कर्नाटक जाने के प्रयास में लगे हुए थे। ओपी चौधरी के इस्तीफे के बाद रायपुर जिला पंचायत सीईओ दीपक कुमार को कलेक्टर का अतिरिक्त चार्ज दिया गया था। हालांकि, चुनाव आयोग को पहले अंकित आनंद का नाम भेजा गया था। लेकिन अंकित की पोस्टिंग जनगणना निदेशक के रूप में हो जाने के कारण आयोग ने दोबारा पैनल मंगा था।
Comment Now