इंदौर.प्रदेश में तेज बारिश का दौर जारी है। इंदौर में बुधवार सुबह भी रिमझिम बारिश हुई। यहां पिछले 24 घंटे में टीकमगढ़ जिले में सबसे ज्यादा 62 मिमी बारिश हुई। वहीं, इंदौर में 15.6 मिमी तो भोपाल में 19.7 बारिश दर्ज की गई। मंगलवार को तेज बारिश के बाद ग्वालियर में 100 साल पुराना तालाब फूट गया। जबलपुर जिले के बरगी बांध के सात गेट खोल दिए गए। बांध से छोड़े गए पानी से नर्मदा में करीब 4 फीट पानी बढ़ेगा। इसके कारण नर्मदा किनारे स्थित जिलों को अलर्ट किया गया है। मौसम विभाग ने शाजापुर, राजगढ़, आगर, टीकमगढ़ में बुधवार को तेज बारिश का अलर्ट जारी किया है।
पिछले 24 घंटे में हुई बारिश : भोपाल - 19.7, टीकमगढ़ - 62, श्योपुरकलां - 24, दतिया - 22, सतना - 4.8, रीवा-3.2, गुना - 44.9, उज्जैन- 5, शाजापुर - 4, रतलाम -1, ग्वालियर- 3.9, इंदौर- 15.6, सागर - 13.6, दमोह - 3, रायसेन - 12.8, नौगांव - 18, होशंगाबाद - 6.1, पचमढ़ी - 7, जबलपुर - 3.4, उमरिया - 4, खजुराहो - 6.7, खंडवा - 2, खरगोन 1.8, धार - 6.5.
इंदौर में आंकड़ा 378.7 मिमी पर पहुंचा, आैसत से 18 मिमी ज्यादा : इंदौर के साथ ही ग्रामीण क्षेत्र में लगातार हो रही बारिश से नदी और तालाबों का लगातार जलस्तर बढ़ रहा है। इंदौर में अब तक का आंकड़ा 14.9 इंच (378.7 मिमी) पहुंच चुका है। जुलाई में औसत बारिश 425.5 मिलीमीटर होती है। इस आंकड़े तक पहुंचने के लिए 46 मिमी बारिश की और दरकार है। वैसे सीजन का औसत इस समय तक 360 मिमी होता है। उस मान से 18 मिमी पानी ज्यादा गिर चुका है। वातावरण में भी ठंडक घुली हुई है। मंगलवार रात तापमान सामान्य से 3 डिग्री कम होकर 27.4 डिग्री रहा। पिछले साल की बात की जाए तो जुलाई बीतने तक 16 इंच पानी गिरा था। इस बार 15 इंच पानी मंगलवार तक की स्थिति में गिर चुका है। दो-तीन दिन इसी तरह मानसून सक्रिय रहा तो 18 से 19 इंच तक का आंकड़ा पार हो सकता है। इसके बाद अगस्त का पूरा महीना और सितंबर के कुछ दिन और बचेंगे। इंदौर को औसत 34.43 इंच पानी की जरूरत होती है।
बरगी डैम के 7 गेट खेले गए :मंडला-डिंडौरी और आसपास के जिलों में लगातार हो रही बारिश से बरगी डैम का जलस्तर तेजी से बढ़ा है। बरगी डैम में करीब 52 हजार 950 क्यूबिक फीट पानी प्रति सेकेंड प्रवेश कर रहा है। इसे देखते हुए प्रशासन ने मंगलवार शाम को डैम के 7 गेट खोल दिए। डैम का अधिकतम जलस्तर 422. 76 मीटर है। डैम से फिलहाल जल विद्युत उत्पादन सयंत्रों के माध्यम से 3 हजार 710 क्यूबिक फीट पानी छोड़ा जा रहा है।
एक से डेढ़ मीटर तक खुले गेट : डैम के 8 से 14 नंबर तक के 7 गेटों को औसतन 1.21 मीटर की ऊंचाई तक खोला गया है। गेट नंबर 10, 11 और 12 की ऊंचाई डेढ़ मीटर रखी जाएगी, जबकि गेट नंबर 8, 9 और 13, 14 को एक मीटर की ऊंचाई तक खोला गया। इन गेटों से 49 हजार 265 और जलविद्युत उत्पादन इकाइयों से 3 हजार 710 क्यूबिक फीट यानी कुल मिलाकर प्रति सेकंड 52 हजार 975 क्यूबिक फीट पानी प्रति सेकेंड छोड़ा जा रहा है। यानी जितना पानी डैम में प्रवेश कर रहा है उतना ही पानी गेट एवं जलविद्युत उत्पादन इकाइयों से छोड़ा जा रहा है।
9 जिलो में हो सकती है बाढ़ की स्थिति :अजय सूरे के अनुसार बरगी डैम से पानी छोड़े जाने से निचले क्षेत्रों में बाढ़ की स्थिति बन सकती है। इनमे जबलपुर, सिवनी, नरसिंहपुर, होशंगाबाद, रायसेन, देवास, सिहोर, खंडवा और खरगोन जिले के तटवर्ती क्षेत्र शामिल हैं।
आगे क्या : मौसम विभाग ने अगले 24 घंटे में प्रदेश में भारी बारिश की चेतावनी दी है। इसकी वजह पश्चिमी मप्र में कम दबाव का क्षेत्र, चक्रवती हवाओं का घेरा और बंगाल की खाड़ी में बनी द्रोणिका है। मौसम वैज्ञानिक एके शुक्ला ने बताया कि बुधवार को ग्वालियर-चंबल संभागों के जिलों में कही-कहीं और शाजापुर, राजगढ़, आगर, टीकमगढ़ में भारी बारिश हो सकती है।
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