भोपाल.आयकर विभाग के बेनामी विंग ने रिटायर्ड आईएएस अधिकारी एमए खान की 23 करोड़ रुपए की 10 प्रॉपर्टी अटैच कर ली हैं। इनमें अरेरा कॉलोनी की प्राइम लोकेशन में तीन बंगले, वीआईपी रोड पर 11,000 वर्गफीट का भूखंड, फरीदाबाद-जबलपुर में दो फ्लैट और 10 एकड़ कृषि भूमि शामिल है। बेनामी प्रॉपर्टी लेनदेन (निषेध), सुधार कानून-2016 के अस्तित्व में आने के बाद भोपाल में यह किसी वर्तमान या रिटायर्ड आईएएस अधिकारी के खिलाफ की गई प्रॉपर्टी जब्ती की यह सबसे बड़ी कार्रवाई मानी जा रही है। मामले में दिलचस्प ये है कि इतनी बेनामी प्रॉपर्टी होने के बावजूद खान कोहेफिजा स्थित हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी के जिस घर में रहते हैं, वह उनके नाम नहीं है।
नोटिस देकर 15 दिन में मांगा जवाब
बेनामी विंग ने इससे पहले आईएएस दंपति अरविंद और टीनू जोशी के खिलाफ भी कार्रवाई की थी, लेकिन यह कार्रवाई बैंक डिपाजिट के खिलाफ की गई थी। जवाब संतोषप्रद न मिलने पर धारा 24 (3) के तहत 90 दिन का प्रोविजन अटैचमेंट कर दिया गया। विभाग ने बेनामी कानून की धारा 24(1) के तहत खान को नोटिस भेजकर 15 दिन के भीतर अपना पक्ष रखने को कहा है। इसके बाद विभाग यह मामला बेनामी के लिए नियुक्त एडजुकेटिंग अथॉरिटी के पास भेजा जाएगा। आयकर विभाग के अफसरों की मानें तो पूरे सर्विस पीरियड के दौरान खान को वेतन-भत्तों के रूप में करीब 2 करोड़ मिले होंगे, फिर भी उन्होंने 23 करोड़ की संपत्ति जुटा ली।
1992 के दंगों के दौरान भोपाल कलेक्टर थे खान
एक बंगले में भाजपा नेता
खान के अरेरा कॉलोनी स्थित बंगलों में कई प्रभावशाली लोग रहते हैं। ई-4 के बंगले में एक भाजपा नेता रहते हैं। ई-2 में मप्र अल्पसंख्यक आयोग के सदस्य रह रहे। ई-2 में एक सरकारी संस्था का अनाथालय है।
8 साल पहले हुई थी सर्च, तब भाग निकले थे खान
एमए खान के यहां 20 10 में आयकर विभाग ने छापे मारे थे। उस समय खान को छापे की भनक पहले ही लग गई थी। तब वे घर पर ताला लगाकर भाग गए थे। आयकर विभाग की टीम ताला तोड़कर घर में दाखिल हुई थी। उसे पूरा फ्रीज ताजे मांस से भरा मिला था।
कई अहम पदों पर रहे हैं खान
खान सेवाकाल में कई अहम पदों पर रहे। नगरीय प्रशासन के प्रमुख सचिव विवेक अग्रवाल के पहले वे ही ऐसे आईएएस थे जो नगरीय प्रशासन विभाग में सचिव होने के साथ इसी विभाग में आयुक्त रहे थे। 1992 में भोपाल में दंगों के दौरान वे भोपाल कलेक्टर रहे थे।
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