न्यूयॉर्क। अपनी अद्भुत वास्तुकला और ऑलिव ग्रीन रंग की स्टेच्यू ऑफ लिबर्टी आज अमेरिका का पहचान है। विशेष रूप से इसका रंग अमेरिकी स्वतंत्रता का प्रतीक है। मगर, आपको यह जानकर हैरानी होगी कि इसका रंग हमेशा से ही ऑलिव ग्रीन नहीं था। गौरतलब है कि फ्रांस ने 1885 में लेडी लिबर्टी को अमेरिका को उपहार में दिया।
इस वीडियो के मुताबिक अपने पहले कुछ दशकों में मूर्ति का रंग धीरे-धीरे चमकीले तांबे के रंग से डल ब्राउन और फिर अंत में नीली-हरे रंग की हो गई। शोधकर्ताओं ने बताया कि मूर्ति पर किया गया कॉपर कलर हवा में मौजूद ऑक्सीजन के साथ लगातार रिएक्शन करके काले रंग का 'टेरोनाइट' बनाती है।
इससे स्टेच्यू का रंग कॉपर से बदलकर गहरे भूरे रंग का हो गया। हवा में सल्फ्यूरिक एसिड और मूर्ति के चारों ओर साल्टी एयर (हवा में मौजूद नकम) के कारण टेरेनाइट के साथ रिएक्शन हुआ, जिससे स्टेच्यू का रंग ऑलिव ग्रीन हो गया।
उन्होंने बताया कि मूर्ति पर ऑलिव ग्रीन रंग की कोटिंग हवा में मौजूद घटकों से मूर्ति में जंग लगने से बचाती है। इसीलिए सौ से अधिक वर्षों से इस मूर्ति का रंग ऑलिव ग्रीन ही रखा गया है।
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