Friday, 23rd May 2025

श्रद्धांजलि सभा में केजरी ने गिनाए अचीवमेंट, हंगामे पर निर्भया की मां बोलीं- राजनीति से दुखी हूं

Mon, Dec 18, 2017 5:13 PM

नई दिल्ली.निर्भया की 5वीं बरसी पर शनिवार को हुई श्रद्धांजलि सभा में कोई भी महिलाओं की सुरक्षा के मुद्दे पर गंभीर नहीं दिखा। कॉन्स्टिट्यूशनल क्लब में निर्भया ज्योति ट्रस्ट के श्रद्धांजलि कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जहां महिला सुरक्षा को लेकर अपनी उपलब्धियों का बखान और वादे दोहराते रहे, वहीं बीजेपी से जुड़े कुछ लोग हंगामा करने लगे। 10-15 मिनट चले पूरे हंगामे के बीच निर्भया की मां आशा सभी को शांत रहने और राजनीति न करने के लिए कहती रही। इस बीच केजरीवाल स्पीच रोककर खड़े हो गए। हंगामा थमता नहीं देख वे सभा छोड़कर चले गए। इसके बाद बीजेपी सांसद मनोज तिवारी भी यहां पहुंचे। बता दें कि 16 दिसंबर, 2012 को वसंत कुंज इलाके में पैरा मेडिकल स्टूडेंट के साथ चलती बस में दरिंदगी हुई थी।

 

आप ने कहा- महिला सुरक्षा पर BJP बेनकाब हुई

- निर्भया की सभा में हंगामे को लेकर आम आदमी पार्टी (AAP) ने बीजेपी पर हमला बोला। ट्विट्स में लिखा, ''निर्भया को श्रद्धांजलि देने के लिए आयोजित कार्यक्रम में बीजेपी सांसद मनोज तिवारी के लोगों ने रोड़ा डाला। बीजेपी वर्कर्स ने निर्भया की मां के आग्रह को भी नहीं माना।''

- ''बेहद शर्मनाक...निर्भया की श्रद्धांजलि सभा को मनोज तिवारी के लोगों ने राजनीतिक अखाड़ा बनाने की कोशिश की। इसमें सांसद के पीए और स्पोक्सपर्सन भी शामिल थे। इससे महिला सुरक्षा को लेकर बीजेपी के दोहरे मापदंड बेनकाब हो गए। दिल्ली उन्हें कभी माफ नहीं करेगी।''

घटना पर मनोज तिवारी ने क्या कहा?

- दिल्ली बीजेपी के अध्यक्ष और सांसद मनोज तिवारी ने मीडिया से कहा कि श्रद्धांजलि सभा में जो कुछ हुआ उसकी कड़ी निंदा करता हूं। सीएम केजरीवाल को किसी पर आरोप लगाने के लिए ऐसे मंच का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। वह मुझ पर आरोप लगा रहे हैं, जिसका मुझसे कोई लेना-देना नहीं। मैं हंगामे के करीब 20 मिनट बाद पहुंचा था। मुझे बताया गया है कि केजरीवाल इस सभा में केंद्र सरकार पर आरोप मढ़कर राजनीतिक रंग देने की कोशिश कर रहे थे।

 

मुद्दे पर राजनीति देखकर दुखी: निर्भया की मां

- राजधानी में गैंगरेप का शिकार हुई निर्भाया की मां आशा सिंह ने कहा, ''संवेदनशील मुद्दे पर राजनीति होती देख काफी दुख हुआ। यह एक बेटी की सभा थी, किसी पार्टी का मंच नहीं था। मुझे दूसरी बार बहुत दुख हुआ।''
- ''बच्ची के कार्यक्रम में लोगों को उस नाम की गरिमा रखनी थी। हमने सभी को बुलाया था। उनकी बात सुननी थी। वहां हंगामा कर रहे कुछ लोगों को मैं जानती हूं। वह निर्भया की लड़ाई में लंबे समय से जुड़े हुए हैं, जिसने कार्यक्रम खराब करने का काम किया है। वह समाज के लिए ठीक नहीं है।

पॉलिटिकल गुंडों ने किया हंगामा

- दिल्ली महिला आयोग (DCW) चीफ स्वाति जयहिंद ने कहा, ''सीएम ने कार्यक्रम को संबोधित किया तो वहां बैठे पॉलिटिकल गुंडों ने शोर शुरू कर दिया। वहां कोई राजनीति कार्यक्रम नहीं हो रहा था। सभी को साथ आना चाहिए। ये लोग कुछ देर पहले बीजेपी सांसद मनोज तिवारी के साथ बाहर हंस-हंस कर बात कर रहे थे। निर्भया की मां मंच से राजनीति बंद करने के लिए बोलती रही, पर उनकी किसी ने एक ना सुनी।''

निर्भया की बरसी पर केजरी ने क्या कहा?

- श्रद्धांजलि सभा से पहले केजरीवाल ने नॉर्थ दिल्ली में केंद्र के 100 करोड़ फंड से बने लूप प्रोजेक्ट का इनॉगरेशन किया। इस प्रोग्राम में स्थानीय सांसद मनोज तिवारी और बीजेपी पार्षद को नहीं बुलाना पर पार्टी वर्कर्स ने नाराजगी जाहिर की। यहां केजरीवाल का जमकर विरोध हुआ, लोगों ने मुख्यमंत्री को काले झंडे दिखाए।

- हंगामे के चलते केजरीवाल को महज 6 मिनट में स्पीच खत्म कर लौटना पड़ा। उन्होंने कहा कि आज के दिन निर्भयाकांड हुआ था। यह एक-दूसरे पर दोष मढ़ने की बात नहीं है, महिला सुरक्षा को लेकर हम सब कुछ खास नहीं कर पाए। लेकिन पीडब्ल्यूडी डिपार्टमेंट ने ठोस कदम उठाए हैं, दिल्ली में CCTV लगाने का टेंडर निकल चुका है।

- इस दौरान आम आदमी पार्टी के वर्कर्स भी मनोज तिवारी के खिलाफ नारेबाजी करने लगे। पुलिस की मौजूदगी के बावजूद दोनों पक्ष भिड़ गए। इन्हें काबू करने के लिए पुलिस को लाठियां भांजनी पड़ीं।

क्या हुआ था 16 दिसंबर, 2012 की रात?

- 16 दिसंबर की रात दिल्ली के वसंत कुंज इलाके में पैरा मेडिकल स्टूडेंट (निर्भया 23 साल) के साथ चलती बस में गैंगरेप और दरिंदगी हुई थी। तब वह अपने दोस्त के साथ मूवी देखकर लौट रही थी।

- पांच आरोपियों ने निर्भया के दोस्त पर भी हमला किया था। घटना के बाद आरोपी चलती बस से दोनों को फेंक कर फरार हो गए थे। 13 दिन बाद इलाज के दौरान सिंगापुर में निर्भया की मौत हो गई थी। देशभर में गैंगरेप केस का जमकर विरोध हुआ था।
- एक दोषी राम सिंह ने तिहाड़ में फांसी लगा ली थी। चार (अक्षय ठाकुर, विनय शर्मा, पवन गुप्ता और मुकेश) को फांसी की सजा सुनाई जा चुकी है। घटना के वक्त जुवेनाइल रहे एक आरोपी को सुधार गृह भेजा गया था। 3 साल सजा काटने के बाद वह पिछले साल दिसंबर में रिहा हो गया।

Comments 0

Comment Now


Videos Gallery

Poll of the day

जातीय आरक्षण को समाप्त करके केवल 'असमर्थता' को आरक्षण का आधार बनाना चाहिए ?

83 %
14 %
3 %

Photo Gallery