Friday, 6th June 2025

दिल्ली एयरपोर्ट से / पहले दिन का हाल: न एसएमएस आया, न फोन, ऑनलाइन भी फ्लाइट कैंसिल नहीं दिखा रहा; एयरपोर्ट पहुंचे तो स्टाफ बोला- आपकी फ्लाइट कैंसिल है

Tue, May 26, 2020 5:14 PM

 

  • वे सभी फ्लाइट्स रोक दी गईं, जिनमें जाने वालों की संख्या काफी कम है, या तो टिकट बुक नहीं हुए या फिर लोग एयरपोर्ट नहीं पहुंचे
  • इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट से 80 फ्लाइट्स रद्द, कई उड़ानें दस से बारह घंटे लेट: एयरलाइंस ने यात्रियों के लिए कोई व्यवस्था भी नहीं की
 

पूरे दो महीने बंद रहने के बाद ठीक ईद वाले दिन जब घरेलू उड़ानें शुरू हुई तो रांची के रहने वाले मोहम्मद इमरान के लिए यह खबर ईदी जितनी ही मिठास लेकर आई। दो महीनों से दिल्ली में फंसे इमरान ईद के मौके पर वापस रांची लौटने को लेकर बेहद उत्साहित थे, लेकिन दिल्ली एयरपोर्ट पर पहुंचते ही उनका यह उत्साह हताशा में बदल गया। यहां से 80 फ्लाइट्स रद्द कर दी गईं।

इमरान कहते हैं, ‘मेरी सुबह सात बजे की फ्लाइट थी। मैं दो घंटे पहले ही एयरपोर्ट पहुंच चुका था लेकिन यहां आकर पता चला कि फ्लाइट कैंसिल हो गई है। इस बारे में एयर इंडिया ने पहले कोई खबर नहीं दी। न कोई एसएमएस आया और न ही कोई फोन, बल्कि ऑनलाइन चेक करने पर अभी वो फ्लाइट कैंसिल नहीं दिखा रहा। जबकि मुझे एयर इंडिया स्टाफ बोल चुका है कि फ्लाइट कैंसिल हो चुकी है।’

एयरपोर्ट पर फ्लाइट का शेड्यूल देखते लोग। एयरलाइंस द्वारा जानकारी न देने के चलते कई लोग परेशान भी हुए।

इमरान हताश होकर अब एयरपोर्ट से वापस लौट रहे हैं। लॉकडाउन के बाद हवाई सेवा शुरू होने के पहले ही दिन जो लोग अलग-अलग जगहों पर जाने के लिए एयरपोर्ट पहुंचे थे, उनमें से कई अब इमरान की ही तरह वापस लौटने को मजबूर हो गए। कई फ्लाइट कैंसिल कर दी गई हैं और कई अन्य फ़्लाइट्स का टाइम दस-बारह घंटे तक पीछे किया जा चुका है।

कोटा से दिल्ली एयरपोर्ट पहुंचे अभय शुक्ला बताते हैं, ‘हम लोग 16 स्टूडेंट्स हैं। सभी कोटा में मेडिकल की तैयारी कर रहे थे। हमारी सुबह चार बजे की पोर्ट ब्लेयर की फ्लाइट थी, जो रद्द हो गई। हम लोग रात को करीब 12 बजे एयरपोर्ट पहुंचे थे। पूरी रात हमने जमीन पर बैठकर गुजारी और अब भी एयरलाइन ने हमें कोई रेस्ट रूम या लाउंज नहीं दिया। वे बस इतना बता रहे हैं कि अब शायद शाम को फ्लाइट जाएगी लेकिन ये भी वो पक्के तौर से नहीं कह रहे।’

किस एयरलाइन के पैसेंजर को कहां से एंट्री मिलेगी, इसके लिए भी बाकायदा बोर्ड लगाए गए।

बड़ी संख्या में फ्लाइट्स के रद्द या लेट होने के बारे में एक अधिकारी बताते हैं, ‘कई राज्यों ने फ्लाइट्स की अनुमति देने से मना कर दिया है इसलिए यह दिक्कत आ रही है। बंगाल की सभी फ्लाइट्स रद्द कर दी गई हैं। कुछ और राज्यों को जाने वाली फ्लाइट्स में भी ऐसा हुआ है।’

मार्च में वियतनाम से लौटे दीपेश गुरुंग को दार्जीलिंग जाना था। उनकी बागडोगरा के लिए सुबह फ्लाइट थी, जो कैंसल हो गई। वे कहते हैं, ‘सबसे बुरा ये है कि एयरलाइन इस बारे में भी कोई जानकारी नहीं दे रही कि फ्लाइट कब चलेगी। सिर्फ एक रिफंड फॉर्म हमें दे दिया है।’

फ्लाइट की जानकारियां लेते लोग। इस दौरान सुरक्षा का भी पूरा ख्याल रखा। इसके लिए गाइडलाइन पहले ही जारी कर दी गई थीं।

एयर इंडिया के कर्मचारी नाम न छापने की शर्त पर बताते हैं, ‘वो सभी फ्लाइट्स रोक दी गई, जिनमें जाने वालों की संख्या काफी कम है। या तो टिकट ही बुक नहीं हुए या फिर लोग एयरपोर्ट तक नहीं पहुंचे। अधिकतर फ्लाइट्स इसी कारण लेट हुई हैं। हैदराबाद से लेकर मुंबई तक, सभी जगह जाने वालों की संख्या काफी कम है इसलिए फ्लाइट्स को कम्बाइन किया जा रहा है।’  

प्रोटेक्शन गियर पहनकर पहुंचे पैसेंजर

पैसेंजरों की तैयारियां देखकर साफ है कि उन्‍हें उड़ान भरने की कितनी बेताबी है। हर कोई ‘न्‍यू नॉर्मल’ की अपेक्षाओं के मुताबिक पूरी तैयारी के साथ एयरपोर्ट पहुंचा। चेहरों पर मास्‍क, हाथों में ग्‍लव्‍स के अलावा कुछ यात्री बाकायदा ओवरऑल पर्सनल प्रोटेक्‍शन गियर के साथ एयरपोर्ट पर सवेरे से ही पहुंचने लगे थे।

एंट्री के लिए अपनी बारी का इंतजार करते लोग। सोशल डिस्टेंसिंग भी दिखी।

लग रहा था जैसे पूरे माहौल पर कोरोना से जुड़े ऐहतियात हावी हैं। सुबह-सुबह एयरपोर्ट पर जिस दुकान पर सबसे ज्यादा खरीदार दिखे वह मास्क, शील्ड और पीपीई किट बेचने वाला काउंटर था। जो यात्री एयरपोर्ट पर थे उनमें ज्यादातर स्टूडेंट्स, बुजुर्ग और छोटे बच्चे थे।

स्टॉल से जरूरत का सामान लेते लोग। यहां भी कोरोना से बचाव के लिए सैनिटाइजर इस्तेमाल करने के पोस्टर नजर आए।

एयरपोर्ट पर मास्क में मुस्तैद स्टाफ, लाउडस्पीकर पर अनाउंसमेंट भी

एयरपोर्ट पर आम दिनों से ज्‍यादा सुरक्षा दिखी और कर्मचारी भी यात्रियों को बाकायदा गाइड करने के लिए तैनात हैं। अंदर जाने से पहले ही यात्रियों का लगेज सैनिटाइज किए जा रहे हैं, ऑटोमैटिक सैनिटाइजर डिस्‍पेंसर लगे हैं और लोगों को दूरी बनाकर रखने के लिए बार-बार लाउडस्‍पीकर से अनाउंसमेंट भी हो रहे हैं।

एयरपोर्ट पर शुरुआती माहौल सहज और सामान्य दिखा, पीपीई, ग्लव्स, मास्क से मुस्तैद यात्री बाकायदा सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए बारी-बारी से एयरपोर्ट में प्रवेश करने के लिए लाइनों में लगे थे।

सफाई को लेकर मुस्तैद एयरपोर्ट के कर्मचारी।

पहली उड़ान का तजुर्बा

सुबह 4.30 बजे फ्लाइट पकड़ने पहुंचे तो एयरपोर्ट जाकर मालूम हुआ सुबह 7 बजे की फ्लाइट शाम 6 बजे के लिए रीशेड्यूल कर दी है।


फ्लाइट की जानकारियां लेते भास्कर के रिपोर्टर।

 
कितनी अलग होगी लॉकडाउन के बाद की पहली उड़ान, क्या कुछ करना होगा और क्या करने की मनाही होगी। ऐहतियात क्या बरतें जाएंगे और कितनी दिक्कतें आएंगी। सबकुछ का तजुर्बा कराने हमारे दो साथियों ने दो अलग-अलग रूट्स पर फ्लाइट्स के टिकट बुक किए।  लॉकडाउन के बीच आज पूरे 62 दिनों के बाद डोमेस्टिक फ्लाइट शुरू हुईं। हम सवेरे साढ़े चार बजे राजधानी दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे पहुंचे। सवेरे 7 बजे की उड़ान के लिए कम से कम दो घंटे पहले एयरपोर्ट पहुंचना जरूरी था।

सोशल डिस्टेंसिंग कायम रहे, इसलिए एयरपोर्ट पर बीच की कुर्सी पर न बैठने के निर्देश लिखे हुए हैं।

हम दो लोग थे और दो अलग-अलग रूट्स के टिकट लिए थे। एक रूट था, दिल्ली से मुंबई जिसके बाद दोपहर में कनेक्टिंग फ्लाइट लेकर मुंबई से जयपुर जाना था और अगली सुबह फिर जयपुर से दिल्ली। वहीं दूसरे रूट पर दिल्ली से हैदराबाद और फिर शाम को कनेक्टिंग फ्लाइट लेकर हैदराबाद से इंदौर और अगले दिन इंदौर से दिल्ली पहुंचना था।

एयरपोर्ट पहुंचे तो सब सामान्य था, हां हमारी हैदराबाद से इंदौर की फ्लाइट कैंसिल होने का मैसेज जरूरत रात 1 बजे मिला था। सबकुछ प्लान के मुताबिक चल रहा था लेकिन फिर दिल्ली से हमारी दोनों फ्लाइट्स रीशेड्यूल कर दी गईं। सुबह 7 बजे जिस फ्लाइट को निकलना था वह शाम छह बजे जाएगी ऐसा कहा गया।

दो महीने से ज्यादा वक्त के बाद घरेलू उड़ानें शुरू हुईं, लेकिन भीड़ नजर नहीं आई।

दूसरे यात्रियों से बातचीत के बाद यह मालूम होने लगा कि महाराष्ट्र, झारखंड, पश्चिम बंगाल समेत गुजरात की उड़ानें आज रवाना नहीं हो रही हैं। इन्हीं सबसे से जूझते यात्री अपनी फ्लाइटों की रीशेड्यूलिंग के लिए पूछताछ काउंटरों पर जमा होने लगे।

यात्री हताश और निराश हैं, दूर-दूर से सवेरे की शुरुआती उड़ानों के लिए तैयारी कर पहुंचे पैसेंजरों की मदद के नाम पर एयरलाइंस बस इतना कर रही हैं कि उन्हें डिले सर्टिफिकेट पकड़ा रही है जिनके आधार पर वे अपना पैसा वापस ले सकते हैं। लोग अपना सा मुंह लेकर लौटने लगे हैं, एयरपोर्ट परिसर में ही ऊंघते, ऊबते और हलकान-परेशान पैसेंजरों को देखा जा सकता है।

सोशल डिस्टेंसिंग कायम रहे, सिटिंग अरेंजमेंट्स भी वैसे ही किए गए, पर लोग ही नहीं पहुंचे।

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