Tuesday, 3rd June 2025

नागरिकता बिल / लोकसभा में समर्थन कर चुकी शिवसेना ने कहा- जब तक सवालों के जवाब नहीं मिलते, राज्यसभा में सपोर्ट नहीं करेंगे

Tue, Dec 10, 2019 11:18 PM

 

  • लोकसभा में नागरिकता संशोधन बिल 9 दिसंबर को पास हुआ, राज्यसभा में 11 दिसंबर को पेश होगा
  • राज्यसभा में 240 सांसद, पास कराने के लिए 121 का आंकड़ा; शिवसेना को छोड़कर समर्थन करने वाले सदस्य 125
  • शिवसेना ने लोकसभा में पूछा था- अभी यह स्पष्ट नहीं कि किस राज्य में और कैसे शरणार्थियों को पुनर्वास होगा
  • महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और शिवेसना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने कहा- यह भ्रम है कि भाजपा को ही देश की फिक्र

 

नई दिल्ली/मुंबई. शिवसेना ने मंगलवार को कहा कि जब तक लोकसभा में पूछे गए हमारे सवालों के जवाब नहीं मिलते, हम नागरिकता संशोधन बिल का राज्यसभा में समर्थन नहीं करेंगे। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने कहा कि हम यह धारणा बदलना चाहते हैं कि बिल का समर्थन करने वाले और भाजपा ही देशभक्त हैं। यह केवल भ्रम है कि भाजपा को ही देश की फिक्र है।

बिल शिवसेना के समर्थन के बगैर राज्यसभा में पास हो सकता है
नागरिकता संशोधन बिल पर सोमवार को आधी रात संसद में पास हुआ था। शिवसेना सांसदों ने बिल का समर्थन किया था। इस सदन में बिल के पक्ष में 311 और विपक्ष में 80 वोट पड़े थे। राज्यसभा में 240 सदस्य हैं। बिल पास कराने के लिए 121 का आंकड़ा जरूरी। शिवसेना को हटा भी दिया जाए तो भी अभी बिल का समर्थन करने वाले दलों के 125 सदस्य हैं।

शिवसेना ने नागरिकता पाने वालों के मताधिकार का मुद्दा उठाया था
लोकसभा में बहस के दौरान शिवसेना सांसद विनायक राउत ने कहा था कि इस बिल के तहत नागरिकता पाने वाले को 25 साल तक वोटिंग का अधिकार नहीं दिया जाना चाहिए। अभी तक यह स्पष्ट नहीं है कि नागरिकता पाने वालों को किस राज्य में और किस तरह से पुनर्वासित किया जाएगा। पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान के अलावा श्रीलंका के शरणार्थियों को भी बिल के तहत नागरिकता दी जानी चाहिए।

राज्यसभा का गणित

राज्यसभा में भी बिल के समर्थन में बहुमत से 7 ज्यादा सांसद

240 सांसद

5 रिक्त सीटें

कुल सीटें- 245

121 बहुमत का आंकड़ा

128 सांसद समर्थन में

110 सांसद खिलाफ

2 सांसदों का रुख साफ नहीं

समर्थन में: भाजपा- 83, बीजेडी-7, अन्ना द्रमुक-11, जेडीयू-6, नामित- 4, अकाली दल- 3, शिवसेना-3, आजाद व अन्य- 11

इनमें पूर्वोत्तर के 2 सांसद शामिल नहीं हैं, जिन्होंने रुख साफ नहीं किया है। ये 2 सांसद वोटिंग के दौरान वॉकआउट करते हैं तो बहुमत का आंकड़ा 120 रह जाएगा।

विरोध में: कांग्रेस-46, टीएमसी-13, सपा-9, वामदल-6, डीएमके-5, टीआरएस-6, बसपा-4 और अन्य-21

कांग्रेस के मोतीलाल वोरा बीमारी की वजह से गैरहाजिर रह सकते हैं। अन्य दलों के सांसद भी गैरहाजिर रहे तो बहुमत का आंकड़ा और कम हो जाएगा। वैसे भी बिल के समर्थन में पर्याप्त सांसद हैं, इसलिए बिल आसानी से पारित हो सकता है।

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