Monday, 9th June 2025

कश्मीर / राज्यपाल ने महबूबा-उमर के सामने नजरबंदी हटाने के लिए शर्तें रखीं- रिपोर्ट्स; मलिक बोले- इससे मेरा कोई लेना-देना नहीं

Wed, Aug 28, 2019 3:53 PM

 

  • राज्यपाल ने मुफ्ती और उमर से मिलकर सशर्त नजरबंदी हटाने की बात कही थी- रिपोर्ट्स
  • राजभवन ने बयान में कहा- मीडिया में चलाई जा रही खबरें गलत और आधारहीन

 

श्रीनगर. जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने मंगलवार को कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती और उमर अब्दुल्ला की नजरबंदी से उनका कोई लेना-देना नहीं है। मलिक ने कहा कि पीडीपी नेता मुफ्ती और नेशनल कॉन्फ्रेंस नेता उमर की नजरबंदी का फैसला पुलिस प्रशासन का था। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, मलिक ने दोनों नेताओं से मिलकर सशर्त नजरबंदी हटाने के लिए बात की थी।

इससे बाद राजभवन ने बयान जारी कर सफाई दी। इसमें कहा गया कि जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल किसी भी व्यक्ति की नजरबंदी या उसे छोड़ने जैसे मामलों में शामिल नहीं हैं। यह फैसला पूरी तरह से स्थानीय पुलिस का है। राज्यपाल ने किसी भी नेता से इन मामलों में संपर्क नहीं किया। मीडिया में जिस तरह की खबरें चलाई जा रही हैं, वह पूरी तरह से गलत हैं। इन खबरों का कोई आधार नहीं है।


राज्यपाल ने दोनों नेताओं के सामने शर्त रखी थी
मीडिया रिपोर्ट्स के कहा गया है कि राज्यपाल ने मंगलवार को मुफ्ती और उमर से मुलाकात की थी। उन्होंने दोनों नेताओं के सामने शर्त रखी थी कि अगर वे अनुच्छेद 370 के खिलाफ न बोलें, तो उनकी नजरबंदी हटाई जा सकती है। हालांकि, दोनों नेताओं ने राज्यपाल की शर्त मानने से इनकार कर दिया। इसके बाद उनकी नजरबंदी बढ़ा दी गई।

करीब 50 नेताओं को नजरबंद किया गया
केंद्र सरकार ने 5 अगस्त को अनुच्छेद 370 खत्म करते हुए जम्मू-कश्मीर और लद्दाख को अलग-अलग केंद्रशासित प्रदेश बनाया था। इसी दिन से मुफ्ती और उमर समेत करीब 50 नेताओं को नजरबंद करके रखा गया है।

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