तीर्थ दर्शन / पाकिस्तान में सुरक्षित बचे खास मंदिरों में से एक है पंचमुखी हनुमान मंदिर, 1500 साल पुराना है इतिहास
Sat, Jan 19, 2019 7:57 PM
रिलिजन डेस्क. हनुमानजी कलियुग में सबसे जल्दी प्रसन्न होने वाले देवता माने गए हैं। इसी वजह से भारत ही नहीं दुनिभाभर में इनके भक्त मौजूद हैं। भारत के पड़ोसी देश पाकिस्तान में वैसे तो मंदिरों की संख्या काफी कम है और जो मंदिर वहां सुरक्षित बचे हैं, उनमें से एक मंदिर पंचमुखी हनुमान का है। मान्यताओं के अनुसार यह मंदिर करीब 1500 साल पुराना है।
जानिए पाकिस्तान के पंचमुखी हनुमान मंदिर से जुड़ी खास बातें...
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सैकड़ों साल पुराना है मंदिर
ये मंदिर पाकिस्तान के कराची शहर के सोल्जर बाजार में स्थित है। इस हनुमान मंदिर का इतिहास सैकड़ों साल पुराना है।
- यहां मान्यता प्रचलित है कि मंदिर में स्थापित मूर्ति करीब 1500 साल पुरानी है।
- आज का जो मंदिर है, उसका इतिहास 18वीं शताब्दी से जुड़ा है। इस मंदिर का पुनर्निर्माण 1882 में किया गया था।
- मंदिर में भक्त भगवान हनुमान की 11 परिक्रमाएं करते हैं और मन्नत मांगते हैं। जिन भक्तों की मनोकामनाएं पूरी हो जाती हैं, वे यहां दोबारा भगवान के दर्शन के लिए पहुंचते हैं।
- कराची पाकिस्तान का सबसे बड़ा शहर है। ये शहर अरब सागर के तट पर बसा है और पाकिस्तान का सबसे बड़ा बंदरगाह भी है। कराची के इस मंदिर में हनुमानजी के दर्शन के लिए भारत से भी काफी संख्या में भक्त पहुंचते हैं।
- हनुमानजी के पंचमुखी स्वरूप में पहला मुख वानर, दूसरा गरुड़, तीसरा वराह, चौथा हैयग्रीव (घोड़े का) और पांचवां नृसिंह का मुख है। इन पांच मुखों से हनुमान भक्तों की समस्याएं दूर करते हैं। हर एक मुख का अपना एक अलग महत्व है।
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कैसे पहुंचें
कराची पाकिस्तान का एक बड़ा शहर है। यहां पर एयरपोर्ट, रेल मार्ग और सड़क मार्ग की अच्छी सुविधाएं उपलब्ध हैं। भारत से वायु मार्ग से कराची पहुंच सकते हैं। कराची में पब्लिक ट्रांसपोर्ट की मदद से इस मंदिर तक पहुंचा जा सकता है
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