रायपुर. कलेक्टरों की लापरवाही पर राज्य सरकार ने सख्त रवैया अपनाया है। लोक सेवा गारंटी अधिनियम के तहत तय समय सीमा पर जानकारी ना उपलब्ध कराने के मामले में राज्य के 13 कलेक्टरों को शोकॉज जारी किया गया है।
राज्य सरकार ने तीन दिन के भीतर विलंब पर स्पष्टीकरण मांगा है। शोकॉज नोटिस पाने वालों में रायपुर के डॉ. एस. बासव राजू समेत कबीरधाम, मुंगेली, कोरबा, रायगढ़, सरगुजा, सूरजपुर, जशपुर, कोरिया, बस्तर, दंतेवाड़ा, सुकमा और नारायणपुर कलेक्टर शामिल हैं।
मुख्यमंत्री ने 31 जनवरी को सभी जिला कलेक्टरों को पत्र भेजकर लोकसेवा गारंटी अधिनियम के तहत निराकृत आवेदनों की जानकारी 7 जनवरी तक मांगी थी। लेकिन समय सीमा में जानकारी नहीं भेजने पर सामान्य प्रशासन विभाग ने स्पष्टीकरण मांगा है।
एक माह में निपटाएंगे नियमितीकरण के मामले : प्रदेश में अनाधिकृत विकास के नियमितीकरण के लंबित मामले एक माह के भीतर निपटाए जाएंगे। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने इसके लिए सभी कलेक्टरों को हर जिले में शिविर लगाने के निर्देश दिए हैं।
छत्तीसगढ़ अनाधिकृत विकास के नियमितीकरण अधिनियम 2002 संशोधित 2016 के प्रावधानों के तहत मामले निपटाए जाएंगे। नियमितीकरण के लिए पूरे प्रदेश से नगर और ग्राम निवेश को पिछले साल 13 जुलाई तक 27 जिलों से 41 हजार 447 आवेदन मिले थे। इनमें से 22 हजार 837 यानी 55 प्रतिशत मामलों का निराकरण कर दिया गया। 18 हजार 610 केस पेंडिंग थे।
लंबित मामले :
जिला केस
रायपुर 3289
गरियाबंद 07
कोरबा 1288
धमतरी 03
बालोद 49
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